HomeJharkhand Newsझारखंड से 2791 लोग हज पर जायेंगे,गो फर्स्ट की रद्द उड़ानों से बढ़ी हजयात्रियों की भी मुश्किलें
झारखंड से 2791 लोग हज पर जायेंगे,गो फर्स्ट की रद्द उड़ानों से बढ़ी हजयात्रियों की भी मुश्किलें
रांची:( गुलाम शाहिद) गो एयरलाइंस की गो फर्स्ट विमान सेवा के दिवालिया होने के कारण झारखंड की राजधानी रांची के बिरसा मुंडा एयरपोर्ट से गो एयरवेज फर्स्ट की सेवाएं बंद कर दी गयी है. गो एयरवेज की यह सेवा फिलहाल 15 मई तक के लिए बंद की गयी है.गो फर्स्ट की उड़ानें रद्द होने से झारखंड के 2791 हजयात्रियों की मुश्किल बढ़ गई है। हज यात्रियों को 21 मई से छह जून के बीच बिरसा मुंडा एयरपोर्ट रांची से गो फर्स्ट की फ्लाइटों से ही उड़ान भरनी है, लेकिन संशय की स्थिति बनी हुई है।
इस बाबत राज्य हज समिति के अध्यक्ष और जामताड़ा के विधायक इरफान अंसारी ने टीओआई से बात करते हुए कहा कि उन्होंने केंद्रीय नागरिक उड्डयन मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया और केंद्रीय अल्पसंख्यक मामलों के मंत्रालय में उनके समकक्ष स्मृति ईरानी को वैकल्पिक व्यवस्था तैयार करने और औपचारिक घोषणा करने के लिए एक पत्र लिखा है। हजारों तीर्थयात्रियों के भय को दूर करें। हजयात्रियों का कहना है कि गो फर्स्ट से जेद्दा जाने का मैसेज मिल चुका है। अब विमानन कंपनी की फ्लाइटें रद्द हो रही हैं। आगे भी यही स्थिति रही तो दिक्कत बढ़नी तय है। नई विमानन कंपनी की फ्लाइट का कोई शेड्यूल भी नहीं मिला है।जानकारी के मुताबिक, हजयात्रा के तहत 10 इंबार्केशन (जहां से हजयात्री उड़ान भरते हैं) की जिम्मेदारी इस बार गो फर्स्ट को दी गई है। इसमें बिरसा मुंडा एयरपोर्ट रांची का नाम भी शामिल है। रांची इंबार्केशन से ही जिलों के हजयात्रियों को रवाना होना है। रांची से अकेले 2300 हज यात्री जाने हैं। इससे यहां के हज यात्री उत्साहित भी हैं।
उनका कहना है कि कोरोना काल में हज यात्रा बंद थी। दो साल बाद रांची एयरपोर्ट से काबा की उड़ानें फिर से शुरू हो रही हैं। लेकिन, अब तक फ्लाइट का शेड्यूल नहीं आ सका है।हज कमिटी के सदस्य मौलाना तहजीब उल हसन ने कहा कि हर बार एक माह पहले ही शेड्यूल आ जाता था। 21 मई से उड़ान शुरू होने की संभावना है। 9 दिन ही बचे हैं। गो फर्स्ट अपनी उड़ानें निरस्त कर रहा है। इससे चिंता और बढ़ गई है।अब तक हजयात्रा का जिम्मा सऊदी एयरलाइंस को दिया जाता था। इस बार यह जिम्मेदारी गो फर्स्ट को दी गई है। विमानन कंपनी की स्थिति डांवाडोल है। अहम वक्त पर कोई फैसला ना बदले, यह डर बना हुआ है।

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