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रेड सी इंटरनेशनल स्कूल, आजाद बस्ती, रांची में हिंदी दिवस के उपलक्ष्य में भव्य कार्यक्रम का आयोजन किया गया

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आज दिनांक 14 सितम्बर 2024 को रेड सी इंटरनेशनल स्कूल, आजाद बस्ती, रांची में हिंदी दिवस के उपलक्ष्य में भव्य कार्यक्रम का आयोजन किया गया। इस अवसर पर छात्रों ने हिंदी भाषा के महत्त्व को दर्शाते हुए विविध गतिविधियों में भाग लिया और कार्यक्रम को सफल बनाया।

कार्यक्रम में कक्षा 1, 2 और 3 के छात्रों ने स्वर और मात्राओं पर आधारित कविताएं प्रस्तुत कीं, जिससे छात्रों ने हिंदी भाषा के मूलभूत नियमों को बेहतर ढंग से समझा। उच्च कक्षाओं के विद्यार्थियों ने हिंदी दिवस के मौके पर प्रमुख हिंदी साहित्यकारों और कवियों के जीवन पर प्रकाश डालते हुए उनकी रचनाओं का पाठ किया। इस दौरान मुंशी प्रेमचंद, रामधारी सिंह दिनकर, महादेवी वर्मा, हरिवंश राय बच्चन और राजेंद्र सिंह बेदी जैसे महान साहित्यकारों की कृतियों का भी उल्लेख किया गया।

कार्यक्रम की मुख्य अतिथि और स्कूल की प्रधानाध्यापिका, श्रीमती सोनी सितारा केरकेट्टा ने छात्रों को हिंदी भाषा की महत्ता पर प्रेरणादायक भाषण दिया। उन्होंने कहा कि हिंदी न केवल हमारी मातृभाषा है, बल्कि यह हमारी संस्कृति और पहचान का अभिन्न हिस्सा भी है। उन्होंने छात्रों से अपील की कि वे हिंदी भाषा का अध्ययन और सम्मान करें, ताकि आने वाली पीढ़ियों तक इसका धरोहर सुरक्षित रहे।

छात्रों में इस कार्यक्रम को लेकर विशेष उत्साह देखा गया, और उन्होंने पूरी लगन से कार्यक्रम को सफल बनाया। इस मौके पर दिलशान आक़िब ,मोहम्मद अनस,
अज़मत शाहिर, अबू रेयान , असद अहमद, साराह परवीन, युशरा रशीद, फ़लक रिज़वी, रौनक़ फ़िरदौस सुफ़िया सोएब, शफिया शादाब,आयशा ज़ुबैरी,अलिश्बा अयूब, बरीरा ज़ुबैरी,शफ़क़ रहमान,साद सलीम,रोहन टुटी, मुनीराह ईशाल,इल्मा नसिम,तहला तबरेज़, मोहम्मद सादिक, मुआविया महबूब, सादिया परवीन
मोहम्मद हम्माद,माशिरा नईम,कहाफ़ अफ़रीन,
वहाब अरसलान, मोहम्मद रेयान और अन्य छात्रों ने अपनी प्रस्तुतियों से सभी को प्रभावित किया।

आज के कार्यक्रम को सफल बनाने में विद्यालय के शिक्षकों जिसमें तमन्ना, सना ,सादिया, अतिका,किरण, सुचिता, मनाउवर,खुशनुमा, नाज़, सदफ,चंदा,शजरा, नीलू, शहमा सर, फरहत,कशिश,आदि की भूमिका अहम रही।
कार्यक्रम का समापन हिंदी के प्रति प्रेम और जागरूकता के संदेश के साथ किया गया। रेड सी इंटरनेशनल स्कूल द्वारा भविष्य में भी हिंदी भाषा और साहित्य के विकास के लिए ऐसे आयोजन होते रहेंगे।

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